अपने ही बच्चे को बेची मां ने अपने इलाज के लिए
रिपोर्ट:-रांची डेस्क•••••
पलामू से एक दिल को झकझोर देने वाली खबर सामने आई है। गरीबी और बीमारी की मार ने एक मां को ऐसा कठोर कदम उठाने पर मजबूर कर दिया, जिसकी कल्पना से भी दिल कांप उठता है।
ऑपरेशन के लिए बेची बच्चा को
पलामू जिले के पिंकी देवी लोटावा गांव की रहने वाली है पिंकी देवी गंभीर रूप से बीमार हैं। बताया जा रहा है कि उनके गर्भाशय में गंभीर तकलीफ़ थी और लंबे समय से इलाज के अभाव में उनकी स्थिति बिगड़ चुकी थी। डॉक्टरों ने उन्हें तत्काल ऑपरेशन कराने की सलाह दी थी। ऑपरेशन और इलाज के लिए करीब 50 हज़ार रुपये की ज़रूरत थी।
पति दिहाड़ी मजदूर है

गरीबी से जूझ रही पिंकी देवी और उनका परिवार इतने पैसे जुटाने में असमर्थ था। पति मजदूरी करते हैं और घर की आर्थिक स्थिति बेहद खराब है। मजबूर होकर पिंकी देवी ने अपने हाल ही में जन्में नवजात बेटे को ही 50 हज़ार रुपये में बेच दिया ताकि अपनी जान बचाने के लिए इलाज कराया जा सके।
बच्चा किसके पास गया
गांववालों के अनुसार, नवजात शिशु को निःसंतान दंपत्ति ने पैसे देकर ले लिया। हालांकि यह लेन-देन पूरी तरह गैरकानूनी है और अब इस मामले की जानकारी मिलते ही स्थानीय प्रशासन हरकत में आ गया है।
प्रशासन और सरकार की प्रतिक्रिया
मामला जैसे ही सुर्खियों में आया, अधिकारियों ने इसकी जांच शुरू कर दी है। महिला एवं बाल विकास विभाग और जिला प्रशासन से जुड़े अधिकारी गांव पहुंच चुके हैं। यह आशंका है कि बच्चा बेचने का यह सौदा मानवाधिकार और कानून की गंभीर अवहेलना है।
स्थानीय प्रशासन ने कहा है कि पिंकी देवी को तत्काल आर्थिक और चिकित्सीय सहायता दी जाएगी। साथ ही बच्चे को वापस लाने और परिवार को कानूनी मदद दिलाने की प्रक्रिया शुरू की जा रही है।
सवाल उठ रहे हैं
आखिर ऐसी स्थिति क्यों बनी कि एक मां को अपनी कोख से जन्में बेटे को बेचना पड़ा?
क्या स्वास्थ्य सेवाओं और सरकार की मदद उसके परिवार तक समय पर नहीं पहुंच पाई?
इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए क्या प्रशासन ठोस कदम उठाएगा?
मदद की उम्मीद
गांव के लोगों ने भी प्रशासन और सरकार से अपील की है कि पिंकी देवी के इलाज की व्यवस्था की जाए और बच्चे को सुरक्षित वापस मां की गोद में लाया जाए। मामले की गूंज अब पूरे पलामू जिले में फैल चुकी है।
